Aai Diwali Aai Kaise Ujale
आह आ आ आ आ आ आ
आह आ आ आ आ आ आ
आई दिवाली आई, कैसे उजाले लायी
घर-घर खुशियों के दीप जले
घर-घर खुशियों के दीप जले
आई दिवाली आई, कैसे उजाले लायी
घर-घर खुशियों के दीप जले
घर-घर खुशियों के दीप जले
सूरज को शरमाये ये, चरागों की क़तारें
चरागों की क़तारें ये चरागों की क़तारें
रोज़ रोज़ कब आती हैं, उजाले की ये बहारें
उजाले की ये बहारें ये उजाले की ये बहारें
आरी सखी आरी सखी आज रात सखी बालम से
दिल जीते या दिल हारे
आई दिवाली आई, कैसे उजाले लायी
घर-घर खुशियों के दीप जले
घर-घर खुशियों के दीप जले
आई दिवाली आई, कैसे उजाले लायी
घर-घर खुशियों के दीप जले (आह आ आ आ)
घर-घर खुशियों के दीप जले (आह आ आ आ)
रह-रह के फूटी फुलझड़ियाँ, लागे मेले रंगों के
लागे मेले रंगों के जी लागे मेले रंगों के
कदम-कदम पे तीर चले हैं, जागे भाग पतंगों के
हा जागे भाग पतंगों के हा जागे भाग पतंगों के
आरी सखी, आरी सखी आज रात को खुल के खेलें
हम भी खेल उमंगों के
आई दिवाली आई, कैसे उजाले लायी
घर-घर खुशियों के दीप जले
घर-घर खुशियों के दीप जले