Qawali Ki Raat Hai Qawali Ka Raat

Shevan Rizvi

नज़र से करने
चले है मुक़ाबला दिल का
हमे भी देखना है
आज होसला दिल का
कहने वाले तू भी कह ले
कहने वाले तू भी कह ले
जो दिल की बात है
कहने वाले तू भी कह ले
जो दिल की बात है
कव्वाली की रात है कव्वाली की रात

कव्वाली की रात है कव्वाली की रात

कहने वाले तू भी कह ले
जो दिल की बात है
हाय कहने वाले तू भी कह ले
जो दिल की बात है
कव्वाली की रात है कव्वाली की रात
कव्वाली की रात है कव्वाली की रात

तेरा रूप एक कली है
मेरा दर्द बेकली है
तेरा रूप एक कली है कली है
मेरा दर्द बेकली है
तुझे रंग वो मिले है
मुझे आरज़ु मिली है मिली है
तुझे रंग वो मिले है
मुझे आरज़ु मिली है मिली है
मेरी आरज़ू ने लेकिन
जहां जल के आह की है
वही शम बढ़ गयी है
वही रात हो गयी है
वही रात हो गयी है
तुझे और क्या बताऊ
ये कमाल आशिक़ी का
जहाँ दिल जला है मेरा
वही रौशनी हुई है
वही रौशनी हुई है हुई है
वही रौशनी हुई है

मगर इश्क़ शोला है
शबनम कहा
जो मुझ में अदा है
वो तुझ में कहा

जो मुझ में अदा है
वो तुझ में कहा

जो मुझ में अदा है
वो तुझ में कहा
कहने वाले तू भी कह ले
जो दिल की बात है
कहने वाले तू भी कह ले
जो दिल की बात है
कव्वाली की रात है कव्वाली की रात

कव्वाली की रात है कव्वाली की रात

कहने वाले तू भी
कह ले जो दिल की बात है
कव्वाली की रात है कव्वाली की रात

कव्वाली की रात है कव्वाली की रात

तेरी दुस्मनी से बढ़कर
तेरी दोस्ती ने मारा
तेरी दुस्मनी से बढ़कर
तेरी दोस्ती ने मारा
तेरी दोस्ती जहा में
मुझे देती है गवारा
तेरी दुस्मनी से बढ़कर
तेरी दोस्ती ने मारा

तेरी बेवफाइओ को
मेरे शोक ने निखारा
तेरी बेवफाइओ को
मेरे शोक ने निखारा

मेरी शोखियों ने लेकिन
तेरे शोक को उभारा उभारा
मेरी शोखियों ने लेकिन
तेरे शोक को उभारा उभारा

तुझे आइना बना कर
किया अपना ही नज़ारा
तुझे इस ख़ुदी ने खोया
तुझे बेख़ुदी ने मारा

तुझे इस ख़ुदी ने

आ आ आ

तुझे इस ख़ुदी ने

आ आ आ

तुझे इस ख़ुदी ने

आ आ आ

तुझे इस ख़ुदी ने खोया
तुझे बेख़ुदी ने मारा
तुझे बेख़ुदी ने मारा

तेरे नाज़ को जमाना
मेरी बेखुदी से जाना

तेरी बेखुदी ने फिर भी
मेरे नाज़ को न जाना
तेरी बेखुदी ने फिर भी
मेरे नाज़ को न जाना
तेरी बेखुदी ने
आ आ आ
तेरी बेखुदी ने
आ आ आ
तेरी बेखुदी ने
आ आ आ
तेरी बेखुदी ने फिर भी
मेरे नाज़ को न जाना
तेरी हार से बना है
मेरी जीत का फ़साना

मेरी जीत का फ़साना फ़साना
मेरी जीत का फ़साना
ज़माने मे है कोई मुझसा कहा
जो मुझ में अदा है
वो तुझ में कहा
कहने वाले तू भी कह ले
जो दिल की बात है
कव्वाली की रात है कव्वाली की रात

Curiosités sur la chanson Qawali Ki Raat Hai Qawali Ka Raat de Asha Bhosle

Qui a composé la chanson “Qawali Ki Raat Hai Qawali Ka Raat” de Asha Bhosle?
La chanson “Qawali Ki Raat Hai Qawali Ka Raat” de Asha Bhosle a été composée par Shevan Rizvi.

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