Nawazuddin
12 बजे लौंडे सवार
गाड़ी भागे शीशे से बाहर
छाती रहे है लौंडे दहाड़
चूहे छुपे हम ना खोदे पहाड़
लोहा ले लौंडे से जैसे लुहार
शकल है न्यू यॉर्क से लेके ला
उसने सुना और वो बोली "क्या
क्या लगता हू बंदा मे मामूली
मामूली
वो सोचे के बंदे मे मामूली
कलम है जादुई
तो आती है धमकिया क़ानूनी
मेरे घंटे से फेम
यहा पे भरते है पन्ने
जब चिलती है आर्टरीस
लौंडे बनरे मोनॉपली
खरीदू घर इनके फिर गेट थे फक ऑफ मी प्रॉपर्टी
मामूली
होता तो मुझे पूछते नि आप
घूरते नि बाहर ढूनडते नि घर
मेरा टॅक्स रिटर्न आता फिर्र एक पेटी से भी कम
मेरा घूमता नि सरर शायद भूलता नि घरर का मे
रास्ता वो पिघले जैसे जून मे
ये चरस जैसे ही सुने गाना बोली स्टूडियो मे बना होगा
उससे लागू मे मामूली लिखू पूल मे ये वर्स जब
गीरेंगे डाट टीस मिलूँगा माल्डाइव्स मे
ये सुई पुर वक़्त रहे चार बीस पे पर
खाली माल खीचते नि दोनो खाल खीचते हैं
दुश्मनो के लहू से ये ज़बान सींचते हैं
बक़यारौ तुझे मामूली लागू मे
कहा से बता कुछ करा तभी तो लौंदे पुराने भी छिड़े बड़ा लू
मज़े मे कभी कबार नि पसंद इन्हे ये
ज़रा मे चड़ा सीडी तो पीछे से डसे
सापो की तरह आबे चल
हटा
होता मामूली तो पेन नि होता गाड़ा
होता मामूली तो यहा नि होता खड़ा
नही छापा होता आर्टिकल एक ग्क ने हुमारा
रॅप ग़मे मे हैं दो विधायक
इनका मूह भी बना मोविए हैगा देखने लायक
और ऐसी लगी भूक ह्यूम की छाती पूरी प्लेट अपनी पर आके
करू खाना तेरी भी प्लेट से गाइाब
सीधे मौत ब्लाह
वो बोली तू मामूली
मई बोला तू है ज़डा बातूनी
करने की मेर्की जड्ज
है तेरेको किसने इजाज़त दी
कला से काबिलियत मैने सिद्ध की जैसे नवाज़ुद्दीन
वो अपनी त शर्ट उतारे घुमारी, वो गांगुली स्विच उप
अभी यही थी अब वो कहा को गई
बताके भागी नाम भी नि लॉरी मेरी रातो की
हसीन शकल है पारो सी
वो पापा को बहाना देके है घूमारी मारुति
है फिगर जैसे नाश्पति और ड्रेस पहेनी जमुनई वूफ
समझे मुझे बचा
खारी इतना भाव के उसे खुद भी नि पचरा
चिकनी मिट्टी बोलके करती है बगल से ढप्पा
तुझको आना है तो यहा को आ नि आना है तो मॅट आ देवी
ऐसा फंडा है की धता लंका घ्र का भेदी
दिल पे मारा टला की सदा लिए बानन्द हवेली
जितना माँगा तुझसे उससे ज़डा प्यार है जनता देती
टीमेपस्स मई कभी ना बोलू उसे बानिया मेरी
तो है अब वो चेप जैसे फेविकोल
न्ही हू मई सीरीयस, ट्रिप है तो पहेली बोल
20 पे मामूली 25 पे ई हॅव इट ऑल
दिल पे है चोट लेकिन साथ हैगा दोस्त तो
12 बजे लौंडे सवार
गाड़ी भागे शीशे से बाहर
छाती रहे है लौंडे दहाड़
चूहे छुपे हम ना खोदे पहाड़
लोहा ले लौंडे से जैसे लुहार
शकल है न्यू यॉर्क से लेके ला
उसने सुना और वो बोली "क्या
क्या लगता हू बंदा मे मामूली
मामूली
वो सोचे के बंदे मे मामूली
कलम है जादुई
तो आती है धमकिया क़ानूनी
मेरे घंटे से फेमयहा पे भरते है पन्ने
जब चिलती है आर्टरीस
लौंडे बनरे मोनॉपली
खरीदू घर इनके फिर गेट थे फक ऑफ मी प्रॉपर्टी