Mohan Ki Muraliya Baje

SHAKEEL BADAYUNI

मोहन की मुरलिया बाजे
हो सुन ठेस जिया पे मोरे लागे
मोहन की मुरलिया बाजे
हो सुन ठेस जिया पे मोरे लागे

दूर कोई मुरली की धुन
पर गीत मिलन के गाये
जाने वाले याद में तेरी
नींद न मुझको आये
जब चैन से दुनिया सोये
हो ओ ओ एक बिरहा तमर मन जागे
मोहन की मुरलिया बाजे
हो ओ ओ सुन ठेस जिया पे मोरे लागे

रात कहे धरती पर जग मग
चाँदनी बन कर बरसूं
ऐसे में आके दरस दिखा
जा हाय मैं रो रो तरसूं
दिल तोड़ के जाने वाले
हो ओ ओ मोहे कुछ
नहीं तुझ बिन साजे
मोहन की मुरलिया बाजे
हो ओ ओ सुन ठेस जिया पे मोरे लागे

लुटी बहारे सावन
बिता टूट गए वो सपने
जब से पिया परदेस सिधारे
रहे न दिन वो अपने
हाय बिरहा के बादल काले
हो ओ ओ छाया घोर अंधेरा मोरे आगे
मोहन की मुरलिया बाजे
हो ओ ओ सुन ठेस जिया पे मोरे लागे

Curiosités sur la chanson Mohan Ki Muraliya Baje de शमशाद बेगम

Quand la chanson “Mohan Ki Muraliya Baje” a-t-elle été lancée par शमशाद बेगम?
La chanson Mohan Ki Muraliya Baje a été lancée en 2011, sur l’album “Missing You”.
Qui a composé la chanson “Mohan Ki Muraliya Baje” de शमशाद बेगम?
La chanson “Mohan Ki Muraliya Baje” de शमशाद बेगम a été composée par SHAKEEL BADAYUNI.

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